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UP News : मायावती बोलीं, कोई कसर नहीं छोडूंगी…

UP News : बसपा सुप्रीमो सुश्री मायावती के शक्ति प्रदर्शन से यूपी की राजनीति में हलचल मच गई है। उन्होंने समाजवादी पार्टी और कांग्रेस पर निशाना साधा तो वहीं योगी सरकार की तारीफ भी कर डाली। प्रदेश में पांचवीं बार बसपा की सरकार बनाने के लिए कार्यकर्ताओं से वादा कर दिया है।

UP News : यूपी में भले ही विधानसभा चुनाव 2027 में होंगे, लेकिन नौ साल बाद लखनऊ के कांशीराम स्मारक स्थल पर गुरुवार को बसपा सुप्रीमो सुश्री मायावती ने रैली करके चुनाव अभियान का आगाज कर दिया। उन्होंने प्रदेश में पांचवीं बार बसपा की सरकार बनाने का वादा अपने कार्यकर्ताओं से भी कर दिया। मायावती ने कहा है कि कोई कोर कसर नहीं छोड़ेंगी। उन्होंने मंच से सपा और कांग्रेस पर सीधे निशाना साधा तो वहीं राज्य सरकार की तारीफ भी कर डाली।

बसपा के संस्थापक कांशीराम की पुण्यतिथि पर गुरुवार को रैली का आयोजन किया गया, जिसमें प्रदेश भर से बसपा के कार्यकर्ता जुटे। कांशीराम स्मारक स्थल पर भीड़ रिकॉर्ड तोड़ती नजर आई। बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि यूपी में कासगंज जिले का नाम मान्यवर कांशीराम नगर के नाम से रखा था। जैसे ही सपा पावर में आई, उन्होंने नाम बदल दिया। इमरजेंसी के दौरान संविधान को कुचला गया। बाबा साहब को संसद नहीं पहुंचने दिया था। बाबा साहब को भारत रत्न नहीं दिया था। सपा ने कांशीराम का हमेशा अपमान किया। दलित समाज को जागरूक होना होगा। मायावती ने भाजपा के सीएम योगी आदित्यनाथ की तारीफ की। उन्होंने कहा कि 2007 में यूपी में पूर्ण बहुमत की बसपा की सरकार आने के बाद जातिवादी पार्टियों कांग्रेस, भाजपा और सपा ने षडयंत्र किया। बसपा को केंद्र की सत्ता तक नहीं पहुंचने दिया। रही सही कसर ईवीएम की मदद ली, जबकि बैलेट पेपर से चुनाव हो सकते हैं। ये दल अब दलित वोटों को बांटने के लिए बिकाऊ लोगों को खरीदकर बसपा को कमजोर करने की साजिश कर रहे हैं।

मायावती ने कहा कि कांग्रेस ने देश में इमरजेंसी लगातार बाबा साहब के संविधान का अपमान किया था। कभी भी उनका सम्मान नहीं किया। अब कांग्रेस के लोग हाथ में संविधान की कॉपी लेकर नाटकबाजी कर रहे हैं। बसपा सुप्रीमो ने कहा कि इसी तरह सपा की सरकार में दलितों-पिछड़ों का उत्पीड़न हुआ है। इससे प्रदेश की कानून व्यवस्था भी चरमरा गई थी। सपा सरकार में गुंडों और अराजकतत्वों को संरक्षण दिया गया। डॉ. भीमराव आंबेडकर ने कहा था कि दलितों-पिछड़ों को साथ मिलाकर सत्ता की मास्टर चाबी अपने हाथ में लेनी होगी। उनका ये सपना कांशीराम जी के जीते जी तो पूरा नहीं हो सका, लेकिन हमने पहले तीन बार मिलीजुली और फिर यूपी में पूर्ण बहुमत की सरकार बनाई है। हमने दलितों और पिछड़ों के साथ ही समानतावादी विचारधारा रखने वाले समर्थकों को भी साथ लेकर कांशीराम जी का सपना पूरा किया है। उन्होंने कहा कि इस दौरान कांग्रेस व भाजपा की केंद्र की सरकारों ने सीबीआई और इनकम टैक्स की मदद से केस लगाकर हमारी छवि को धूमिल करने का प्रयास किया था। इसके लिए हमें कोर्ट की भी मदद लेनी पड़ी। हमने बसपा सरकार के दौरान सर्वजन हिताय और सर्वजन सुखाय की ऐसी सत्ता दी है, जिसे अभी भी जनता नहीं भुला पाई है।

मायावती ने कहा कि इस रैली में अन्य दलों की तरह पैसे देकर लोग नहीं बुलाए गए हैं। अपनी खून-पसीने की कमाई खर्च करके आए हैं। इस रैली ने यहां पर हुई पहले सभी रैलियों का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। इससे लगता है कि 2027 में यूपी में एक बार फिर पूर्ण बहुमत से बसपा की सरकार बनेगी। उन्होंने वादा किया कि वह कोई कसर नहीं छोड़ेंगी।

रैली में लाखों की संख्या में पहुंचे कार्यकर्ता

बसपा प्रमुख मायावती ने कहा कि आप बसपा शासनकाल में बने कांशीराम स्मारक पर उन्हें श्रद्धांजलि देने आए हैं। इस स्मारक के कुछ हिस्सों की समय पर मरम्मत नहीं हो पाई थी, जिसके कारण आप उन्हें पुष्पांजलि अर्पित नहीं कर पाए थे। अब इसका अधिकांश भाग पूरा हो चुका है, आपने अपने सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। लाखों की संख्या में कांशीराम को श्रद्धांजलि देने आए हैं

सरकार लाने के लिए छोटी-छोटी करें सभाएं

बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि जातिवादी दल संविधान को बदलने की कोशिश करते रहते हैं, लेकिन हम ऐसा नहीं करने देंगे। भले ही इसके लिए कितना भी संघर्ष करना पड़े। बसपा ही एक ऐसी पार्टी है, जो बाबा साहब के संविधान को सुरक्षित रख सकती है। उन्होंने 2027 में समर्थकों से यूपी में बसपा सरकार बनाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि इसके लिए बसपा समर्थकों को बूथ स्तर पर छोटी-छोटी सभाएं करके बसपा के यूपी में चार बार रहे शासनकाल की उपलब्धियों को बताना है।

गठबंधन पर नहीं मिलता सहयोगी दलों का वोट

मायावती ने कहा कि यूपी में बसपा अकेले ही चुनावी मैदान में उतरेगी। गठबंधन करने पर बसपा का वोट तो सहयोगी दलों को मिल जाता है, लेकिन बसपा को उनका वोट नहीं मिलता है। बसपा ने यूपी में जब भी गठबंधन की सरकार बनाई तो सरकार कार्यकाल पूरा नहीं कर पाई। सरकार पहले ही गिर गई। वहीं जब पूर्ण बहुमत की सरकार बनीं तो सभी समाज के लोगों के लिए विकास कार्य किए। इसलिए बसपा ने 2027 में भी अकेले चुनाव लड़ने का फैसला लिया है।

दलितों-पिछड़ों के खिलाफ बने कानून खत्म करेंगे

बसपा सुप्रीमो ने कहा कि प्रदेश में बसपा की सरकार बनने पर उन सभी कानूनों को बदल दिया जाएगा, जो कि दलितों-पिछड़ों के खिलाफ हैं। राज्य में सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय की सोच वाली सरकार बनेगी। लोगों को अपनी रोजी-रोटी के लिए पलायन नहीं करना पड़ेगा।

 

सपा को सत्ता से बाहर जाने पर याद आता पीडीए

 

बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि अभी मैंने सुना है कि अखिलेश यादव ने सत्ता में आने पर कांशीराम का स्मारक बनाने की बात कही, लेकिन जब सत्ता में थे तो कभी ऐसा नहीं किया। ये लोग जब सत्ता में नहीं होते हैं तो इन्हें बसपा के नेता और दलित समाज के संतों की याद आती है। जब सत्ता में आते हैं तो कुछ नहीं याद रहता है। ऐसे दोगले लोगों से सावधान रहना चाहिए। बसपा की सरकार रहते हुए मैंने जिन स्मारकों का नाम कांशीराम जी के नाम पर रखा, उन्हें सपा की सरकार आने पर बदल दिया गया था।

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